इस चिट्ठे पर प्रकाशित सभी विचारों के लिये लेखक स्वयं उत्तरदायी है। संपादन मंडल का लेखक की राय से सहमत होना अनिवार्य नहीं है। -संपादक
नवसंवत आपके द्वार आ खड़ा हुआ है परन्तु आज का युवा उसे भुला चुका है १ जनवरी को मनाया जानी वाला नव वर्ष सबको याद है परन्तु अपना नव वर्ष किसी को याद नही है लेकिन फिर भी आप सभी को विक्रमी संवत २०६६ की शुभकामना इस आशा से की यह वर्ष देश को स्वस्थ और स्थायी केंद्र सरकार दे भारत और विश्व दोनों को मंदी की छाया से मुक्त कर जाए

1 comment:

Pt. D.K. Sharma "Vatsa" said...

स्वाती जी, सही कहा आपने.....हम लोगों को तो सिर्फ हैप्पी न्यू ईयर कहना आता है.
खैर कोई बात नहीं,,,,,चलिए आपको हमारी तरफ से नव संवत्सर की हार्दिक शुभकामनाऎं..

विजेट आपके ब्लॉग पर